CM मोहन यादव का ऐलान: MP में होगी 22,500 पुलिसकर्मियों की भर्ती, प्रक्रिया तेज

भोपाल
मध्य प्रदेश के पुलिस थानों में खाली पड़े हजारों पद जल्दी भर लिए जायेंगे, सरकार ने इसकी तैयारियां तेज कर दी है, मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने बीते 15 अगस्त को घोषणा करते हुए कहा कि अगले तीन साल में ये भर्तियाँ हो जायेंगी इतना ही नहीं मुख्यमंत्री ने भर्तियों के लिए पुलिस भर्ती बोर्ड के गठन की भी घोषणा की।
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री एवं गृह मंत्री डॉ मोहन यादव की घोषणा के बाद से प्रदेश के युवा उत्साहित हैं, विशेष रूप से उन युवाओं में बहुत उत्साह है जो लंबे समय से पुलिस भर्ती की तैयारी कर रहे थे और खाकी वर्दी पहनने का सपना दिल में संजोये बैठे हैं, उनके सपने जल्दी ही हकीकत में बदलने वाले हैं।
सीएम डॉ मोहन यादव ने 15 अगस्त को पुलिस अधिकारियों कर्मचारियों के सम्मान समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि मेरी जानकारी में आया है हमने 7500 पदों पर भर्ती की अनुमति दी है लेकिन अभी भी 20 हजार पद पुलिस विभाग में खाली है, उन्होंने कहा कि हम अगले तीन सालों में सभी खाली पदों को भर देंगे।
सीएम ने की पुलिस भर्ती बोर्ड बनाने की घोषणा
सीएम ने पुलिस के आला अधिकारियों की तरफ देखते हुए कहा कि पहले ये भर्तियाँ कर्मचारी चयन मंडल करता था जिसमें कई तरह की परेशानियाँ आती थी इसलिए आप इसके लिए बोर्ड बनाइये मैं पुलिस भर्ती बोर्ड बनाने की घोषणा करता हूँ, जिससे आप अपने हिसाब से भर्ती कर सकेंगे। इससे पुलिस भर्ती में तेजी, पारदर्शिता और परफेक्शन आएगा।
तीन वर्ष तक हर साल होगी 7500 पदों पर भर्ती
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2025 के लिए पुलिस में स्वीकृत पदों की भर्ती मध्य प्रदेश पुलिस भर्ती बोर्ड की ओर से कर्मचारी चयन मंडल करेगा। वर्ष 2026 से ये भर्तियां पुलिस भर्ती बोर्ड द्वारा ही की जाएंगी। प्रतिवर्ष पुलिस के रिक्त 7500 पदों पर भर्ती की जाएगी और इस प्रकार आगामी 3 वर्ष में पुलिस विभाग के सभी रिक्त 22,500 पद भर दिए जाएंगे।
वीवीआईपी ड्यूटी में तैनात अफसरों के लिए ये घोषणा
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने पुलिस, जेल और नगर सेवा एवं सुरक्षा तीनों विभागों के शहीदों की विधवाओं और बच्चों के लिए स्नातक स्तर के सभी पाठ्यक्रमों में विभिन्न प्राथमिकता श्रेणियां में एक अतिरिक्त सीट पर आरक्षण दिये जाने की घोषणा भी की है। वीवीआइपी ड्यूटी में तैनात सुरक्षा कर्मचारियों सहित उप पुलिस अधीक्षक और इससे उच्च अधिकारियों को भी पात्रता अनुसार निर्धारित विशेष भत्ता एवं जोखिम भत्ता दिये जाने का निर्णण भी लिया गया है।